পাতা:প্রবাসী (ঊনত্রিংশ ভাগ, প্রথম খণ্ড).djvu/৫৭০

এই পাতাটির মুদ্রণ সংশোধন করা প্রয়োজন।

侧洲] aश की शाग्र ,

रुरि छाश्छड़ (नशॉग छैiहांत कर्तिरक्लिन छष्ठ अिश्।ि ििशंगसांश१ौष् िकि१७घा रश रागरे बांना नै सिठ हरे ऐüन। शिनि झिा निि िगिष्ट कान्6मा सिौ । (प्रशांग dगिउ बांह। १३म ऍशा राग आहेवं रशशिनि (ोंनौ शंत रघ्नरेउ शांन। (गर्शन ऋक्रांडल शिी दूरे शृङ्गा। प्ले इो भूत रक्ष ऍशः पू१छगि उनिशिी (शिनमा क्डूि ु सिीशंगै शान्तीअश्। ििजंश (ग्नि छांशः गछि छ कठि षांश ७ ७शं; इrर्शत निौ निं शिल इतः।। ७ांशः १ौ घन (क्षिां७ििन षां िहन। एीशं ध्रुं गर्हिौज् ऍशन हा रश्ऊि श dर रांनौस् ि(श्न (क्लौशूिर (लाल सांख्न श्रे (ऑक राशिस् ऐश् কীিয়া বলিয়ছিলেন, তেমনি কবি ডামুড়ন্ত্রও নিৰ্ণিত (ंील ऎशल इग्-राशं रां रुतििलन: "श् झ 'नलिनशतःि (न् सङ्गीकारः।। बांशtश ब्रहणू"ी छान दूरश्रमांiा। ोगैिि शास्छा क्र्यौिं। (श|७|शूलं नेि'खं रुग् बी शरि॥ श्हेला बछझछन | इन्। (वान् शैवालान् शान्तिलइन्। (ग्न शशि रुगीजांक्षति इ बगैं। हिां★tा शब्न राष्ट्र बै३िशैहैिं। देश: * श्रेज्रे करि उश्ज्क्ल रुतिष्ठििशष्ट शब्द रुगिन। (नशीनराशौन ऍशंस शशंसति रादौमि उि पूजा सि- िगौरि (झ श्रृंग्रुश्रुज्न श्रेष रुउिtारौ चर्था गद्देशिगन (उपनि रु.ि छांश्ल्क्ल९ ११:५ शंख्न हरेः ऍशन राश क्षणिा शस्त्र सि। 'रौति िशा गिशि निकानैः श्रेषांझ, करि छांश्छल्8 (अणगौ अंशं ब्रांशी निशि (नीगैौाः कृण्व्रज़ घईन कप्तिांहन। प्रौं घर्गलिज़ार करि िगाँउ ।ि *ति शश्ध्ल बागाना शागिरन ग्निक। tरे मांशानानारे ऍशा शैरात्रः (*? कई। शिने (मशीन-मारांtः क् िमृषांन गांछ सर्मिाशिगन र ति छांग्लशैः शैशेशिगन-tर्षन (गांत चांद्र (ग रिशा घांगांकन कणिश् न। रा' णिनि ( इगनिए छांशं ब्रांशी गिशिक्षिांश, एांश अग्नि (मशीन. रांशैन जांनन ज्ञांछ क:िउझ्। रगतीश्गा छांश्ठाख्न (नशीगौड्रांशं★itस (श्0ान गङ्गठ रांगौरि ब्रांशांशक्षा थश्चारगिापूजन कन्न। हरि शश्ब्रूरादौप्ति जबूछ शेष चश्ण१ न क्ष,ि गुरु चशास्त्र ब्रांशांशुभं ऐ* निर्जन कशिऍशन (नर्भोगैौद्गांशाः ग्न रुििजन्न। ििी छि ग¥छ शि७ शिगन रगिा, ऍश,१कdरे ब्रांशाग्नरुनगब्बर ' श्रेझिंज। কবি ডাক্ত নেপালী রামা ছাড়া আরও অনেক रहे (मशीनौ उशा निशिांशिगन। ऐशन शा(?) "grाझौ", (१)"कि" ९(९)"जश्ब्रूषांग" ¢गिई। क्झांझानि स्तक (षांश गरे"थॉसौ" লেং ক্টোছ। দাৰ্জিলিং নেপালী সাহিত্য-দান ऍशा"कि"सँ१ (क्ष रग्निान्न। १ी বল াৈছে যে, কবি ডায়ুম্ভক্তের "নেগালী রা" (नशील अर्ककथिा। देशंद्र १, "&rीसौ" ७ “छांश्ब्रूषांज्ञा' थां, भूर (तनै। हेश भूर षांक,ि रिर, शरै छांश्ल्ल् निष जङ्गब्छ उि त्रे (नझाँगै "अंश' शा ७ षष्ठांग करिश-१एस् गिशिष्ट शब्द समिशिग। আমার দেশে যেমন এককালে ব্রাঙ্ক-গড়িা সাড় छांशांश् गए १िशः निर्शिज्ञ 6 सीश (गशंस छूीज़ प्रल् हिस्, रतःि छाश्रमं गता नीां । # बत, हि। कारक क्षिप्त ? पर शंश रुि ,ि (नक्षांगै "छाश'रि गि । १४ारि, अंश्ठझरे गर्रुश्। पिशिा दिईनश्क काइन। उिनेि ଜ୩ଞ୍ଜି ੋ गारतिरर्रधान शनै गहिशा शिी शब्द तन। ऎशा विश १ बाणैश्रेिणिरे{रमं